धन का सदुपयोग (Kahani)

March 1992

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एक धनी का बच्चा अभिभावकों द्वारा जेवरों से लादकर रखा जाता था चोरों की निगाह उस पर पड़ी । सो एक दिन मौका पाकर बच्चे को चुरा ले गये और उसके जेवर उतारकर कत्ल कर दिया ।

खोज लगाते हुए पुलिस ने इन चोरों को पकड़ लिया । राजाज्ञा में उन सभी को फाँसी की सजा सुनाई गई ।

साथ ही धनी की सारी सम्पत्ति भी शासन द्वारा जब्त कर ली गई । उससे कहा गया धन का उपयोग लोगों को रोजी देना या परमार्थ में लगाना है । आपने यह तो किया नहीं उलटे प्रदर्शन का अहंकार जताने लगे । आपकी समझदारी इस योग्य नहीं कि धन का सदुपयोग करके अपने बच्चों को सुरक्षित रख सके ।


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