Quotation

April 1948

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हर एक व्यक्ति, ईश्वर की दृष्टि में अपने पेशे का ऋणी है, क्योंकि उसी से उसकी जीविका चलती है। इसलिए उनका परम पावन कर्त्तव्य है कि वे उस पेशे के प्रति ईमानदार रहें और ऐसा कोई कार्य न करें जिससे उस पेशे का अपमान हो।

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यथाशक्ति लोगों के दुःख का निवारण करना ज्ञानी पुरुषों का कर्त्तव्य है।

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