साधना का अर्थ जीवन के हर पक्ष में आदर्शवादिता और प्रामाणिकता समावेश है। जो भी इस कसौटी पर खरा उतरता है, उसको स्वर्णकार की तरह सम्मानपूर्वक उचित मूल्य मिलता है, पर पीतल को सोना बनाकर बेचने की फिराक में फिरने वाले को हर कहीं दुत्कारा जाता है।