एक दिन पहलवान बनूँगा (Kahani)

February 1988

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एक दुर्बल और रोगी लड़का अपने पिता से बोला-पिताजी में एक दिन पहलवान बनूँगा। पिता ने व्यंग्य में उत्तर दिया - बेटा जरूर पहलवान ही नहीं दुनिया के सबसे बड़े पहलवान बनोगे। पासवर्ती लोग हंस पड़े पर लड़का उपहास सहकर भी निराश न हुआ। नियमित व्यायाम प्रारम्भ किया और एक दिन सचमुच ही न केवल अच्छा पहलवान ही बना वरन् कसरत की अनेक विधाएं पी0टी0 के अभ्यास बनाने के कारण सैण्डो के नाम से प्रसिद्ध हुआ।


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