बर्रों का छत्ता बहुत बड़ा था। पास की डाली पर मधु मक्खियाँ एक छोटा छत्ता बनाने में परिश्रमपूर्वक जुटी थीं।
एक बर्र निकली और व्यंगपूर्वक बोली, उह, इतना छोटा छत्ता और इतनी मक्खियों का इतना शोरगुल।
मधु मक्खियों में से एक ने नहले पर दहला मारा। बोली−बहन, तुम इससे भी छोटा छत्ता बनाकर दिखा दो जिसमें हमारे छत्ते जैसा शहद भरा हो।