ईर्ष्या वह काली नागिन है जो समस्त पृथ्वी मंडल में जहरीली फुफकारें छोड़ रही है। यह गलतफहमियों की एक गर्म हवा है जो शरीर के अन्दर ‘लू’ की तरह चलती है और मानसिक शक्तियों को झुलसा कर राख बना देती है।
-अज्ञात