“अखण्ड-ज्योति” द्वारा प्रकाशित अमूल्य पुस्तकें।

March 1946

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यह बाजारू किताबें नहीं हैं। इनकी एक एक पंक्ति के पीछे लेखक का गहरा अनुभव एवं अनुसंधान है। इतने गहन विषयों पर इतना सुलभ साहित्य अन्यत्र प्राप्त होना कठिन है। यह पुस्तकें पाठक की जीवन दिशा में उथल-पुथल उत्पन्न कर देने की दैवी शक्ति से पूर्णतया सम्पन्न हैं।

1- मैं क्या हूँ?

2- सूर्य-चिकित्सा विज्ञान

3- प्राण चिकित्सा विज्ञान

4- परकाया प्रवेश

5- स्वस्थ और सुन्दर बनने की अद्भुत विद्या

6- मानवीय विद्युत के चमत्कार

7- स्वर योग से दिव्य ज्ञान

8- भोग में योग

9- बुद्धि बढ़ाने के उपाय

10- धनवान बनने के गुप्त रहस्य

11- पुत्र या पुत्री उत्पन्न करने की विधि

12- वशीकरण की सच्ची सिद्धि

13- मरने के बाद हमारा क्या होता है।

14- जीव जन्तुओं की बोली समझना

15- ईश्वर कौन है? कहाँ है? कैसा है?

16- क्या धर्म? क्या अधर्म?

17- गहना कर्मणोगति

18- जीवन की गूढ़-गुत्थियों पर तात्विक प्रकाश

19- पंचाध्यायी धर्म नीति शिक्षा

20- शक्ति संचय के पथ पर

21- आत्म गौरव की साधना

22- प्रतिष्ठा का उच्च सोपान

23- मित्र भाव बढ़ाने की कला

24- आन्तरिक उल्लास का विकास

25- आगे बढ़ने की तैयारी

26- अध्यात्म धर्म का अवलम्बन

27- ब्रह्म विद्या का रहस्योद्घाटन

28- ज्ञान योग, कर्म योग, भक्ति योग

29- यम और नियम

30- आसन और प्राणायाम

31- प्रत्याहार धारणा ध्यान और समाधि

32- तुलसी के अमृतोपम गुण

33- आकृति देख कर मनुष्य की पहचान

34- मैस्मरेजम की अनुभव पूर्ण शिक्षा

35- ईश्वर और स्वर्ग प्राप्ति का सच्चा मार्ग

36- हस्तरेखा विज्ञान

37- विवेक सतसई

38- संजीवनी विद्या

39- गायत्री की चमत्कारी साधना

40- महान जागरण

41- तुम महान हो

42- गृहस्थ योग

43- अमृत पारस और कल्पवृक्ष की प्राप्ति

44- घरेलू चिकित्सा

45- बिना औषधि के कायाकल्प

46- पंच तत्वों द्वारा सम्पूर्ण रोगों का निवारण

47- हमें स्वप्न क्यों दीखते हैं?

48- विचार करने की कला

49- दीर्घ जीवन के रहस्य

50- हम वक्ता कैसे बन सकते हैं।

कमीशन देना कतई बन्द है। हाँ आठ या इससे अधिक पुस्तक लेने पर डाक खर्च हम अपना लगा देते हैं। आठ से कम पुस्तकें लेने पर रजिस्ट्री पार्सल का खर्च ग्राहक के जिम्मे होगा।

पता-मैनेजर ‘अखण्ड-ज्योति’ कार्यालय, मथुरा।


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