मानवीय विद्युत के चमत्कार

इस पुस्तक में मनुष्य शरीर की बिजली द्वारा जो कार्य संपन्न होते हैं, उन पर प्रकाश डाला गया है । जिस प्रकार स्वास्थ्य विज्ञान जानना हर व्यक्ति के लिए आवश्यक है, उसी प्रकार उसे अपनी सबसे मूल्यवान वस्तु "शारीरिक विद्युत" के बारे में जानना चाहिए । कितने दुःख की बात है कि हम में से बहुत से सुशिक्षित लोग भी इस महत्त्वपूर्ण विज्ञान की मोटी-मोटी बातों से परिचित नहीं हैं और इस जानकारी के अभाव में गलत मार्गों को अपनाकर दुःख उठाते रहते हैं । इस महाविज्ञान को पूरी तरह न तो इस छोटी सी पुस्तक में समझाया जा सकता था और न उन लोगों को बहुत अधिक गहरी एवं विस्तृत बातों को जानना रुचेगा, जिन तक कि हम इस पुस्तक को पहुँचाने की इच्छा रखते हैं । इसलिए मोटे तौर से रोज मर्रा के जीवन में काम आने वाली बातों में मानवीय विद्युत का क्या और किस प्रकार असर होता है, इस बात को समझाने का प्रयत्न किया गया है । हर बात को विज्ञान की तराजू से तौलने वालों को धर्म और प्राचीन रीति-नीतियों के औचित्य का अनुभव करने का अवसर मिलेगा और वे देखेंगे कि भारतीय धर्मशास्त्र एवं आचारशास्त्र अंधविश्वास या दंभ पर नहीं वरन् मनोविज्ञान एवं साइंस के गंभीर अभिज्ञान पर अवलंबित है । इस पुस्तक में एक गूढ़ विज्ञान की सरल सी व्याख्या की गई है, किसी विधि निषेध पर विशेष जोर नहीं दिया गया है, ताकि सर्वसाधारण निष्पक्ष रूप से इस पर विचार कर सके । अपने विषय की यह निराली पुस्तक हिंदी साहित्य के अंग को पूर्ण करेगी, ऐसा हमारा अनुमान है ।

Write Your Comments Here: